ITR फाइल करने की तारीख 31 अगस्त तक
- Posted by SSdigitalBE
- On July 29, 2019
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सेंट्रल बोर्ड ऑफ डायरेक्ट टैक्सेज(CBDT) ने इनकम टैक्स रिटर्न फाइल करने की अंतिम तारीख 31 जुलाई से 31 अगस्त तक बढ़ा दी है.
नए नियमों के तहत आपको इनकम टैक्स रिटर्न हर साल फाइल करना जरूरी होगा. आप आईटीआर फाइल करके सेक्शन 87A के तहत 5 लाख तक की आय पर छूट ले सकते हैं लेकिन 2.5 लाख सालाना कमाई होने पर आईटीआर फाइल जरूर करना होगा. आईटीआर फाइल नहीं करते हैं तो आपको आयकर विभाग के नोटिस या जुर्माने का सामना करना पड़ सकता है.
सात फॉर्म में से सही का चुनाव जरूरी IRT Return के लिए
वेतन, व्यापार या व्यवसाय से लाभ, घरेलू संपत्ति से आय, कैपिटल गेन से आय व इनके अलावा अन्य स्रोतों से होने वाली आय को कर योग्य माना जाता है। आय के स्रोत के आधार पर ही करदाता संबंधित फॉर्म पर रिटर्न दाखिल करता है। आयकर विभाग ने आय के स्रोत के मुताबिक सात रिटर्न फॉर्म तय किए हैं और हर करदाता को यह देखकर कि उसकी आय किस तरह की है, सही फॉर्म का चुनाव करना चाहिए।
इनकम टैक्स रिटर्न भरने के लिए उचित फॉर्म का चयन भी जरूरी है। साथ ही आप अपनी इनकम के स्रोत के हिसाब से रिटर्न का तरीका भी चुन सकते हैं। अगर आप आईटीआर-1 और आईटीआर-4 भर रहे हैं तो आप इसे सीधे ऑनलाइन भरेंगे तो ज्यादा आसानी होगी।
आईटीआर 1 (सहज) : जिनकी वेतन, पेंशन, किराया, ब्याज या अन्य स्रोतों से होने वाली कुल आय 50 लाख तक है। यह एनआरआई के लिए नहीं है।आईटीआर 2 : व्यक्तिगत अथवा हिंदू अविभाजित परिवार जिनकी आय किसी व्यापार से नहीं है।
आईटीआर 3 : व्यक्तिगत अथवा हिंदू अविभाजित परिवार जिनकी आय किसी व्यापार से है।
आईटीआर 4 : व्यापार और व्यवसाय से आय।
आईटीआर 5 : जो व्यक्तिगत, हिंदू अविभाजित परिवार, कंपनी नहीं हैं अथवा आईटीआर 7 को नहीं भर रहे हैं।
आईटीआर 6 : सेक्शन 11 के तहत छूट मांगने वाली कंपनियों के अतिरिक्त कंपनियां।
आईटीआर 7: वे लोग या कंपनियां जिनको सेक्शन 139(4 ए) या 139(4 बी) या 139(4 सी) या 139(4 डी) या 139(4 ई) या 139(4 एफ) के तहत रिटर्न दाखिल करने की जरूरत है।
कैसे करें इनकम टैक्स रिटर्न की ई-फाइलिंग (ITR E-filing)
आप इनकम टैक्स की वेबसाइट पर जाकर अपना इनकम टैक्स अकाउंट लॉग-इन करें। ऐसा करने के बाद E-Filing इनकम टैक्स रिटर्न का ऑप्शन आएगा। आप इसमें आकलन वर्ष के आधार पर डेटा भरें। इसके बाद रिटर्न सबमिट करें और फिर इसे ई-वेरिफाई करें।
स्टेप 1: अपने लैपटॉप में मूल्यांकन वर्ष के लिए आईटीआर का सॉफ्टवेयर डाउनलोड करें।
स्टेप 2: डाउनलोड किए गए सॉफ़्टवेयर का उपयोग करके रिटर्न तैयार करें।
स्टेप 3: अपनी आय, कर भुगतान, कटौती आदि के बारे में सभी जानकारी इकट्ठा करें। यह सुनिश्चित करें कि कुछ भी नहीं बचा है।
स्टेप 4: सभी डेटा दर्ज करें और टैक्स और ब्याज देने और रिफंड या टैक्स देय के अंतिम आंकड़े की गणना करने के लिए ‘गणना’ पर क्लिक करें। यदि कर देय है, तो तुरंत भुगतान करना याद रखें और डिटेल दर्ज करें।
स्टेप 5: ऊपर बताए गए स्टेप दोहराएं ताकि कर देय शून्य हो जाए।
स्टेप 6: अपने लैपटॉप पर XML फॉर्मेट में इनकम टैक्स रिटर्न डेटा जेनरेट करें और सेव करें।
स्टेप 7: उपयोगकर्ता की आईडी, पासवर्ड, जन्म तिथि/ के साथ ई-फाइलिंग वेबसाइट पर लॉग इन करें और कैप्चा कोड दर्ज करें।
स्टेप 8: ई-फाइल पर जाएं और ‘अपलोड रिटर्न’ पर क्लिक करें।
स्टेप 9: पहले से सेव किये गए ITR, आकलन वर्ष और XML फ़ाइल का चयन करें। डिजिटल साइन प्रमाणपत्र (DSC), यदि लागू हो, अपलोड करें। सुनिश्चित करें कि DSC ई-फाइलिंग के साथ रजिस्टर्ड है।
स्टेप 10: ‘सबमिट’ बटन पर क्लिक करें।
इनकम टैक्स से छूट लेने के कुछ प्रमुख सेक्शन
सेक्शन 80 सी: इसके तहत आपको सालाना अधिकतम डेढ़ लाख रुपए तक की आय पर छूट मिल सकती है। इसमें आपके द्वारा पीपीएफ, ईपीएफ, बैंक में टैक्स फ्री फिक्स डिपोजिट, नेशनल सेविंग्स सर्टिफिकेट, ईएलएसएस म्यूचुअल फंड, बच्चे की एजुकेशन फीस, जीवन बीमा का प्रीमियम आदि के रूप में जमा राशि पर छूट मिलती है।
सेक्शन 80 सीसीडी: नेशनल पेंशन स्कीम (एनपीएस) इसमें
अधिकतम वेतन (मूल+डीए) का 10 फीसदी जमा किया जा सकता है। इस जमा पर सालाना
50,000 रुपए की आय पर छूट मिलती है, तो 80 सी के तहत मिलने वाली छूट के
अलावा होती है।
सेक्शन 80 ईई: अगर आपने 2016-2017 में पहली बार घर 50 लाख तक का घर खरीदने के लिए 35 लाख से कम लोन लिया है तो आपको इसके ब्याज पर 50,000 तक की छूट और मिल सकती है।
सेक्शन 80 टीटीए: सेविंग्स अकाउंट पर दस हजार तक के ब्याज पर छूट मिलती है। यह फिक्स जमा पर लागू नहीं होता है। सीनियर सिटीजन सभी तरह के जमा पर 50,000 रुपए के ब्याज तक छूट ले सकते हैं।
सेक्शन 80 ई: अपने लिए अपने परिवार में किसी के लिए या एेसे छात्र के लिए शिक्षा लोन के ब्याज पर, जिसके आप कानूनी अभिभावक हों, ब्याज पर पूरी छूट मिलती है।
अगर आपको किसी सहायता की जरूरत हो तो SS Financials के एक्सपर्ट से संपर्क करें
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